मंडी, 07 नवंबर (Udaipur Kiran) . Himachal Pradesh में दलितों पर बढ़ते अत्याचारों, भेदभाव, उत्पीड़न, हिंसा, छुआछूत व अन्य सामाजिक भेदभाव के खीलाफ़ एकजुट आवाज़ उठाने और दलितों के संवैधानिक अधिकारों की रक्षा के लिए आज मंडी में शोषण मुक्ति मंच गठित करने के लिए अधिवेधन आयोजित किया गया जिसकी अध्यक्षता रविकांत, तेजलाल चौहान, केएस चौहान, नानक चन्द, जयकुमार वर्धन, रीता देवी ने की और मंच के राज्य सयोंजक आशीष कुमार ने इसका उदघाट्न किया.
उन्होंने कहा कि गत माह 16 अक्टूबर को शिमला के कालीवाड़ी हाल में राज्य स्तर का अधिवेशन आयोजित किया गया था जिसमें तीन दर्ज़नो दलित संगठनों ने भाग लिया था और उसी सम्मेलन में दलितों के अधिकारोँ की रक्षा के लिए शोषण मुक्ति मंच गठित किया था जिसके आह्वान पर आगामी 17 नवंबर को दलितों की मांगो को लेकर ज़िला स्तर व उपमण्डल स्तर पर प्रदर्शन करने का निर्णय लिया गया है. उससे पहले सभी जिलों में शोषण मुक्ति मंच की कमेटियां गठित की जा रही है और उसी कड़ी में आज मंडी ज़िला की कमेटी गठित करने के लिए बैठक आयोजित की गई जिसमें एक दर्ज़न दलित व अन्य जनवादी संगठनों के पचास सदस्यों ने भाग लिया.
इस अवसर पर 25 सदस्यीय कमेटी चुनी गई जिसका सयोंजक ज़िला पार्षद रविकांत को तथा मॉन सिंह और जयकुमार वर्धन को सह सयोंजक और तेजलाल चौहान को सलाहकार चुना गया.राज्य सयोंजक आशीष कुमार ने बताया कि इस मंच का मुख्य उद्देश्य दलितों के साथ होने वाले भेदभाव,अमानवीय व्यवहार, उत्पीड़न व अत्याचारों को इकठ्ठा होकर रोकना है. ये सब समाज के उन सभी लोगों व संस्थाओं के सहयोग से ही संभव है जो भेदभावपूर्ण व जातीय सोच से ऊपर उठकर मानवीय मूल्यों व सँविधान को सर्वोपरि मानते हैं और किसी इंसान से उसकी पैदाइस किस जाति में हुई है उसके आधार पर सदियों पुरानी मनुवादी सोच का विरोध करते हैं और समानता की सोच को मानते हैं. इसलिये शोषण मुक्ति मंच में केवल दलितों के सन्गठन व लोग ही नहीं बल्कि अन्य जातियों के वे सभी लोग व संग़ठन भी शामिल हैं जो जातिगत भेदभाव के ख़िलाफ़ सँघर्ष करने को तैयार हैं.
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(Udaipur Kiran) / मुरारी शर्मा
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